उधम सिंह नगर – उत्तराखंड के हाईकोर्ट से सीधा एक बड़ी खबर सामने आ रही है. यह खबर है वित्त नियंत्रक को तत्काल प्रभाव से बर्खास्त करने की. मामला फर्जी जाति प्रमाण पत्र से जुड़ा हुआ बताया जा रहा है. इसके अलावा उनके खिलाफ अपराधिक मुकदमा दर्ज कराने के निर्देश भी दिए गए हैं. चलिए पूरा मामला जानते हैं—-
जानकारी के अनुसार आपको बता दें, कि डॉ मनमोहन सिंह चौहान की संस्तुति पर मुख्य कार्मिक अधिकारी बीएल फिर माल ने उप वित्त नियंत्रक के सत्य प्रकाश को ऋण को बर्खास्त कर दिया है. जिसमें दिसंबर 2017 में विवि के कुछ कर्मचारियों ने कुरील के खिलाफ मोर्चा खोलते हुए कुलाधिपति, कुलपति व निर्देशक प्रशासन को शिकायत दर्ज पत्र भेजकर उनके जाति व निवास प्रमाण पत्र फर्जी बताते हुए उनकी जांच करवा कर नियुक्ति निरस्त करने की मांग की है. मामले में 5 साल बाद जांच के बाद आरोप सही पाए जाने पर कोर्ट ने अधिकारियों को बर्खास्त करने के आदेश दे दिए हैं. जांच में यह पाया गया है कि अन्य राज्य से भी बने निवास व जाति प्रमाण पत्र फर्जी पाए गए हैं. जिसमें किच्छा तहसीलदार ने 16 फरवरी 2018 को उनके यहां से जारी जाति प्रमाण पत्र निरस्त कर दिया था.जिसके विरोध में कुरील ने शासन के सचिव सोशल वेलफेयर सहित किच्छा एसडीएम व तहसीलदार और पंत विवि को पार्टी बनाकर हाईकोर्ट से स्टे हासिल कर लिया। जांच में सामने आया कि कुरील ने तीन अलग-अलग राज्य से प्रमाण-पत्र बनवाए थे।